मिथुन लग्न वालों के लिए लग्न में बैठा हुआ बुध पूर्ण रूप से एक सम्राट की तरह है। बुध के लिए मिथुन राशि उसका अपना घर है। इसलिए वह अपनी राशि में बैठा हुआ पूर्ण शक्तिशाली है।
मिथुन राशि आज के युग में आर्थिक विकाश आर्थिक प्रबंधन की राशि मानी जाती है और बुध ग्रह भी आज के ज़माने में आर्थिक क्षेत्रों में अविष्कारों के माध्यम से अपने योगदान का कारक है। जैसे कि बिजनेश मैनेजमेंट, कंप्यूटर, नए ढंग के व्यापार व् व्यापारों में नई विचारधारा का विस्तार । यही कारण है की लग्न में बैठा हुआ बुध व्यक्ति के आर्थिक पक्ष अच्छा फल देता है । बुध ग्रह का हमारी वाणी से भी गहरा संबंध है। इस लग्न में बुध होने से व्यक्ति की वाणी में मधुरता तो आती ही है, इसके साथ-साथ वाणी में एक प्रकार की दुनियावी बुद्धि का विशेष तौर से विकाश होता है। अब ये व्यक्ति के दूसरे ग्रहों पर निर्भर करता है कि इस बुद्धि और वाणी की शक्ति का प्रयोग किस प्रकार किया जाये । बहुत से लोग इस बुद्धि से धन कमाने में सफल भी हो सकते हैं, लेकिन कुछ लोग आप को ऐसे भी मिलेंगे जो जिंदगीभर दूसरों को नसीहत देने या अपनी योग्यता अथवा गुणों के बारे में बात करने में ही अपने जीवन का कीमती समय नष्ट कर देते हैं। यदि यहाँ बैठे बुध पर किसी ग्रह की थोड़ी सी भी अशुभ दृष्टि पड़ती हो तो कई बार मिथुन लग्न में बैठा हुआ बुध आदमी को बातूनी बना देता है और वह अपनी योग्यता का जरुरत से ज्यादा जिक्र करता है जो लोगों में हंसी मजाक का भी पात्र बनता है।
चमत्कार चिंतामणि में वर्णन आता है कि लग्न में बुध के होने से ऐसे लोगो को जब किसी प्रकार का रोग होता है तो उसकी चिकित्सा करना थोडा मुश्किल हो जाता है क्यों की बुध के लग्न में होने से ब्यक्ति अपने स्वास्थ्य के बारे में कई प्रकार के विचार मन- ही- मन बनाता रहता है जिससे वह डॉक्टर को ठीक ढंग से अपनी बीमारी के कारण या लक्षण बयान नहीं कर पता। ऐसा व्यक्ति दूसरों से अपने काम करवाने में बहुत माहिर होता है।यहाँ बैठा बुध व्यक्ति को विद्या अभ्यासी बनाता है। ऐसा जातक अक्सर लेखन द्वारा भी जीविकोपार्जन करता है पर यह लेखन सृजनात्मक न होकर पेशेवर ( विषय विशेष )हो सकता है।
* यहाँ बैठे बुध के साथ बृहस्पति का होना आर्थिक हालात के लिए काफी अच्छा होता है।
* अगर यहाँ बुध के साथ सूर्य हो तो अच्छा फल होता है जातक की बुद्धि में एक विशेष प्रकार की शक्ति होती है वह ज्योतिष , आध्यात्मिक विषयों में भी अच्छी प्रगति प्राप्त कर सकता है और किसी न किसी रूप में उसको सरकार से भी लाभ हो सकता है पर किसी पाप ग्रह की दृष्टि पड़ रही हो तो ऐसे जातक का अपने से बड़ों के साथ झगड़ा या मुकद्दमा होता है।
* यहाँ अगर बुध के साथ चंद्रमा हो तो सामान्यतः ठीक ही रहता है पर अगर राहु की दृष्टि हुई तो मानसिक रोग या तनाव की संभावना होती है।
* शुक्र का साथ होने पर आर्थिक हालात के लिए अच्छा फल होता है अगर जातक का खेती-बाड़ी से कोई सम्बन्ध हो तो बहोत फायदेमंद होता है।
* मंगल का साथ शारीरिक रूप से मजबूत बनाता है पर जीवन में लांछन लगने की भी संभावना होती है।
* शनि का साथ जीवन की स्थिरता के लिए अच्छा फल नहीं करता पर जायदाद प्राप्त होने के योग बनते हैं अभिप्राय खानदानी मकान, जमीन आदि से किसी न किसी रूप में लाभ प्राप्त होता है।
* राहु का साथ जीवन में भ्रम की स्थिति पैदा होती रहती है। यह साथ जातक के स्वयं के लिए कुछ अच्छा नहीं होता ।
* यहाँ बुध के साथ केतु का होना अच्छा फलदाई नहीं है जीवन में आदमी को अपनी आर्थिक स्थिति सुधारने के लिए काफी जद्दोजहद करने की जरुरत पड़ती है।